जीएसटी में ऐतिहासिक बदलाव: 22 सितंबर से लागू होंगी नई दरें

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जीएसटी दरों में बड़े बदलाव की घोषणा की है। अब 5% और 18% के दो मुख्य स्लैब होंगे, जबकि 12% और 28% की दरें खत्म हो जाएंगी। जानें 22 सितंबर से कौन सी चीजें सस्ती होंगी और इसका आम आदमी पर क्या असर पड़ेगा।

Sep 4, 2025 - 19:12
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जीएसटी में ऐतिहासिक बदलाव: 22 सितंबर से लागू होंगी नई दरें
जीएसटी काउंसिल का आम आदमी को 'डबल दिवाली' तोहफा: 22 सितंबर से लागू होंगी नई दरें, कई चीजें होंगी सस्ती

केंद्र सरकार ने जीएसटी (वस्तु एवं सेवा कर) प्रणाली में एक ऐतिहासिक बदलाव की घोषणा की है, जिसका सीधा फायदा आम आदमी को मिलेगा। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जीएसटी परिषद की 56वीं बैठक के बाद यह ऐलान किया कि 22 सितंबर से जीएसटी की जटिल चार-स्लैब संरचना को समाप्त कर दिया जाएगा और इसकी जगह 5% और 18% की दो मुख्य दरें लागू होंगी। इस फैसले से दैनिक उपयोग की कई वस्तुएं, इलेक्ट्रॉनिक्स और यहां तक कि छोटी कारें भी सस्ती हो जाएंगी।

सरकार का यह कदम प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के वादे के अनुरूप है, जिन्होंने अपने स्वतंत्रता दिवस के भाषण में 'नेक्स्ट-जनरेशन जीएसटी रिफॉर्म्स' लाने की बात कही थी। निर्मला सीतारमण ने बताया कि इन सुधारों का मुख्य उद्देश्य "आम आदमी के लिए जीवन को आसान बनाना" और "व्यापार करने में आसानी" को बढ़ावा देना है।

क्या होगा सस्ता?

नए नियमों के अनुसार, जिन वस्तुओं पर पहले 12% और 18% का कर लगता था, उनमें से कई अब 5% के निचले स्लैब में आ जाएंगी। इससे रोजमर्रा की चीजें जैसे हेयर ऑयल, शैंपू, टूथब्रश, साबुन, टूथपेस्ट, और साइकिल की कीमतें घट जाएंगी। इसके अलावा, स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में भी बड़ी राहत दी गई है। अब व्यक्तिगत स्वास्थ्य और जीवन बीमा पॉलिसियों पर कोई जीएसटी नहीं लगेगा, जो पहले 18% था।

इसी तरह, चिकित्सा उपकरण जैसे थर्मामीटर, डायग्नोस्टिक किट और ग्लूकोमीटर पर भी जीएसटी दर 12% से घटाकर 5% कर दी गई है। किसानों के लिए भी अच्छी खबर है, क्योंकि ड्रिप सिंचाई प्रणाली, ट्रैक्टर और कृषि उपकरणों पर कर की दर को 12% से घटाकर 5% कर दिया गया है।

इलेक्ट्रॉनिक्स और वाहन भी होंगे सस्ते

उच्च कर वाले स्लैब (28%) में आने वाली कई वस्तुएं अब 18% के नए स्लैब में होंगी। इससे एयर कंडीशनर, डिशवॉशर, और 32 इंच से बड़े टेलीविजन जैसे घरेलू उपकरण सस्ते हो जाएंगे। इसके अलावा, 350 सीसी से कम इंजन वाली मोटरसाइकिल और 4 मीटर से कम लंबाई वाली छोटी कारों (1200 सीसी पेट्रोल और 1500 सीसी डीजल) पर भी जीएसटी दर को 28% से घटाकर 18% कर दिया गया है।

'सिन गुड्स' पर 40% की नई दर

इन सुधारों के बावजूद, कुछ चुनिंदा 'सिन गुड्स' और लग्जरी वस्तुओं पर कर की दरें बढ़ाई गई हैं। पान मसाला, गुटखा और सिगरेट जैसे उत्पादों पर अब 28% जीएसटी और उपकर (Compensation Cess) की जगह 40% की नई दर लागू होगी। हालांकि, यह बदलाव तब तक प्रभावी नहीं होगा जब तक कि राज्यों को दिए गए मुआवजे के लिए लिए गए ऋण का भुगतान नहीं हो जाता।

सरकार का अनुमान है कि इस कर सुधार से सरकारी खजाने को लगभग 48,000 करोड़ रुपये का राजस्व घाटा होगा, लेकिन उम्मीद है कि यह नुकसान बढ़ी हुई खपत और बेहतर अनुपालन से पूरा हो जाएगा। विशेषज्ञों का मानना है कि यह कदम न केवल उपभोक्ताओं को राहत देगा, बल्कि यह व्यापार करने की आसानी को भी बढ़ाएगा और अर्थव्यवस्था को गति देगा।